A blog about hindu dharam, Hindu Itihas, religion, thoghts, culture, amazing fact about hindu dharam, gods, devi, devta, pooja, festivals, Amazing and Interesting Facts & Stories In Hindi

Breaking

Post Top Ad

Your Ad Spot

Thursday, August 18

ये है वो 10 म‌ंद‌िर जिनका पांडवों से है विशेष संबंध

10 Famous Temple of Mahabharata Era : आज हम आपको उन 10 प्राचीन मंदिरों के बारे में बता रहे है जिनका पांडवो से खास संबंध रहा है।

1. हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा जिले में खनियारा स्थित प्राचीन ऐतिहासिक अघंजर महादेव मंदिर। पांडु पुत्र अर्जुन ने महाभारत युद्ध से पूर्व भगवान श्रीकृष्ण के मार्गदर्शन पर इस स्थान पर बाबा भोले की तपस्या कर उनसे एक अस्त्र प्राप्त किया था।




2. भद्रकाली मंदिर में अर्जुन ने महाभारत के युद्ध से पहले पूजा-अर्चना की थी। ये मंदिर भी कुरुक्षेत्र के शक्तिपीठों में गिना जाता है।

3. बाराबंकी में रामनगर तहसील में स्थित पांडव कालीन लोधेश्वर महादेव मंदिर की स्थापना पांडवो ने अज्ञातवास के दौरान की थी। पूरे देश से लाखो श्रद्धालू यहाँ कावर लेकर शिवरात्रि से पूर्व पहुंचकर शिवलिंग पर जल चढ़ाते हैं।

4. ममलेश्वर महादेव मंदिर जो की हिमाचल प्रदेश की करसोग घाटी के ममेल गांव में स्थित है। ये मंदिर भगवान शिव और माता पार्वती को समर्पित है। इस मंदिर का संबंध पांडवो से भी है क्योंकि पांडवो ने अपने अज्ञातवास का कुछ समय इसी गांव में बिताया था।

5. मुक्तेश्वर मंद‌िर यहां भगवान शिव के साथ ब्रह्मा, विष्णु, पार्वती, हनुमान और नंदी जी भी विराजमान हैं। भगवान शिव के इस मंदिर में ऐसा विश्वास है कि यहां देवी और राक्षस के बीच युद्ध हुआ था।




6. इसके अलावा स्‍थानेश्वर मंद‌िर भगवान शिव का मंदिर है। कुरुक्षेत्र में स्थित है। ऐसी मान्यता है कि इस मंदिर में पाण्डवों और भगवान कृष्ण नें युद्ध से पहले पूजा-अर्चना की थी। ऐसी मान्यता है कि स्वयं भगवान शिव यहाँ वास करते हैं और ‘महाशिवरात्रि’ की रात को तांडव करते हैं।

7. ये मंदिर भगवान विष्णु को समर्पित है। माना जाता है कि इस मंदिर का निर्माण पाँण्डवों ने किया था। यहां राजा पांडु को मोक्ष प्राप्त हुआ था। इसके अलावा ऐसी मान्यता भी है कि इस स्थान पर नकुल और सहदेव दोनों का जन्म हुआ था।

8. कटासराज, पाक‌िस्तान के पंजाब प्रान्त में स्थित हिन्दुओं का प्रसिद्ध तीर्थ स्थान है। ये प्राचीन मंदिर शिव जी को समर्पित है। माँ पार्वती सती हुई तो भगवान शिव की आँखों से दो आंसू टपके जिसमें से एक कटास पर गिरा था। महाभारत काल में पांडवों ने इन्हीं पहाड़ियों में अज्ञातवास किया। यहां स्‍थ‌ित कुण्ड में पांडव प्यास लगने पर पानी की खोज में पहुंचे थे।

9. बारह ज्योतिर्लिंगों में से एक केदारनाथ उत्तराखण्ड में हिमालय पर्वत की गोद में स्‍थ‌ित है। यहां महाभारत के युद्ध के बाद पांडव रुठे महादेव को मनाने पहुंचे थे। भैस बने महादेव को जब भीम ने पकड़ ल‌िया तो भैंस के पीठ के आकार में यहां श‌िवल‌िंग प्रकट हो गया। बाद में शंकराचार्य ने केदारनाथ को प्रत‌िष्ठ‌ित क‌िया।




10. ऐसी मान्यता है क‌ि जब पांडवों ने अपना राजपाट राजा परीक्ष‌ित को सौंप द‌िया तीर्थयात्रा पर न‌िकले तो उस दौरान वह केरल आए थे। केरल के पंच पांडव मंद‌िर के बारे में कथा है क‌ि तीर्थयात्रा के दौरान पांडवों ने इन मंद‌िरों का न‌‌िर्माण क‌िया था।

Source

No comments:

Post a Comment

Post Top Ad

Your Ad Spot

Pages