Breast Cancer Symptoms In Hindi| स्तन कैंसर के लक्षण- ब्रेस्ट कैंसर एक प्रकार का कैंसर है जो ब्रेस्ट में शुरू होता है, जब कोशिकाएं नियंत्रण से बाहर होकर एक ट्यूमर का रुप ले लेती हैं, जो एक गाँठ की तरह बन जाती है, ब्रेस्ट कैंसर कोशिकाओं का एक समूह ट्यूमर बनाता है जिसे हम एक गांठ के रूप में महसूस कर सकते हैं, Breast cancer पुरी तरह महिलाओं में ही होता है, लेकिन कुछ दुर्लभ मामलों में पुरुषों में भी Breast cancer पाया जाता है, आमतौर पर अगर ब्रेस्ट में गांठ पड़ गई तो हम ब्रेस्ट कैंसर मान लेते हैं लेकिन कुछ लोग इसे नजर अंदाज कर देते हैं।Breast cancer symptoms In Hindi
वैसे विशेषज्ञों की सलाह के अनुसार 20 से 30 वर्ष उम्र की महिलाओं को 3 वर्ष के अंतर से ब्रेस्ट चेक-अप कराते रहना चाहिए, 40 वर्ष से ज्यादा उम्र की महिलाओं द्वारा प्रत्येक वर्ष चेक-अप कराया जाना चाहिए, चेक-अप के बाद अगर जरूरत हो तो डॉक्टर की सलाह पर तुरंत ईलाज शुरू करना चाहिए इसके बावजूद अगर महिलाओं को लगे कि उनकी ब्रेस्ट में गांठ जैसा या सख्त मांस जैसा कुछ भी ब्रेस्ट में महसूस होता है या लगे कि ज्यादा तकलीफ देह है और आपकी ब्रेस्ट में कैंसर हो सकता है तो तुरंत डॉक्टर से जांच करवाना बहुत महत्वपूर्ण है, कई रिसर्च में ये बात निकल कर सामने आई है कि हमारी जीवन शैली के चलते हुए बनने वाले हार्मोन्स के कारण भी ब्रेस्ट कैंसर के चांस भी बढ़ सकते हैं, और ऐसा पता चलने पर सही ईलाज की संभावना बढ़ जाती है ।
भारत में महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर की बिमारी तेजी बढ़ रही है, ब्रेस्ट कैंसर महिलाओं की मौत का कारण भी बन जाता है शरीर के किसी भी हिस्से में कोशिकाओं के निर्बाध रुप से वृद्धि होने पर ही कैंसर बन जाता है कई मामलों में अनुवांशिक कारणों से भी ब्रेस्ट कैंसर होता देखा गया है, अगर महिलाएं स्वयं अपने स्तर पर ही ध्यान दें तो शुरुआती दौर में ही दवाएं बगैरा खाने से भी ब्रेस्ट कैंसर से बचा जा सकता है, इसमें महिलाओं को शुरुआती लक्षणों को पहचानने की समझ होना जरूरी है, अगर महिलाओं ऐसा कुछ लगे तो वे स्वयं भी नहाते समय ब्रेस्ट को दबा कर गांठ का पता लगा सकती हैं, गांठ महसूस होने पर तुरंत डॉ. से सम्पर्क करना चाहिए अथवा अल्ट्रासाउंड और मेमोग्राम का टैस्ट करा सकती हैं, एक और टैस्ट एफ एन एसी होता है जिससे भी ब्रेस्ट कैंसर का पता लग जाता है। वैसे रोजाना के जीवन में खान-पान से ब्रेस्ट कैंसर का कोई खतरा नहीं है!
स्तन कैंसर के लक्षण (Breast cancer symptoms In Hindi)
1. दोनों ब्रेस्ट के शेप में अंतर :- कई बार महिलाओं को अगर लगे हमारी एक ब्रेस्ट आम साईज से ज्यादा बड़ी महसूस हो रही है अथवा दूसरी ब्रेस्ट आम साईज से ज्यादा छोटी हो गई है तो हमें तुरंत डॉक्टर से सलाह करनी चाहिए ताकि कोई चेक-अप या दवा आदि शुरू की जा सके, या फिर समाज में फैली भ्रान्तियों से कैसे बचा जाए इसको लेकर सही समझदारी की बहुत आवश्यकता की जरूरत है जिससे इन परेशानीयों से अपने आप को बचाया जा सके।
2. ब्रेस्ट का सिकुड़ जाना :- विशेषज्ञों के अनुसार दोनों ब्रेस्ट सही साईज से सिकुड़ कर काफी असामान्य स्थिति में पहुँच गई लगती हैं, हमें इस हालात से स्वयं को बाहर निकालने के लिए व इन बिगड़ी हुई परिस्थितियों से बाहर निकलने व सामान्य वातावरण में वापस आने में काफी समयावधि का सामना करने के लिए तैयार होना पड़ेगा, तभी दुबारा से जीवन को मजबूती के साथ खुद को समाज में स्थापित करना होगा
3. ब्रेस्ट के रंग में बदलाव :- कभी-कभी स्वयं को भी ये लगने लगता है कि त्वचा का रंग कुछ बदरंग या लाल सा हो कर कहीं न कहीं कुछ गड़बड़ जरूर है इसका अहसास हो जाता है, तब हमें बगैर घबराहट के परिवार के उचित मार्गदर्शन में समुचित सलाह लेने की आवश्यकता होती है और अति शीघ्र किसी बड़े डॉक्टर या स्पेशलिस्ट से मिल कर अपना मेडिकल चेक-अप, एक्सरे वगैहर जो भी उचित लगे वो सब जल्दी से जल्दी करा लेने में ही भलाई है।
4. ब्रेस्ट का साईज बड़ा होना :- कई बार महिलाओं के ब्रेस्ट का साईज सामान्य से बहुत बड़ा हो जाता है जो हास्यस्पद स्थिति का रुप ले लेता है तथा ब्रेस्ट कैंसर का कारण भी बनता है, कई बार ब्रेस्ट में सूजन भी आ जाती है तब बड़ी भयानक परिस्थिति हालात का सामना करना पड़ता है और दर्द से भी असहनीय स्थिति बन जाती है कई बार ऐसा लगता है कि ब्रेस्ट दर्द के मारे फट ही जायेगी, ऐसे समय में उचित मार्गदर्शन की बहुत जरुरत होती है और सावधानीपूर्वक व समयानुसार कोई ठोस निर्णय जल्दी से जल्दी लेने की आवश्यकता होती है।
5. ब्रेस्ट के निप्पल की बनावट :- महिलाओं के स्वयं देखने में आया है कि उनके ब्रेस्ट के निप्पल की बनावट कुछ अलग सी लगने लगी है, तथा खुद को भी हैरानी सी होती है कि हमारे साथ ये सब क्या हो रहा है अगर निप्पल की शेप शुरु से ही टेढ़ी है तो कोई परेशानी वाली बात नहीं है, परेशानी वाली बात तब खड़ी होती है जब ब्रेस्ट का निप्पल ब्रेस्ट में बाहर की तरफ सीधा है और कुछ समय बाद एक तरफ झुक गया लगता है, तब हमें समझने में देर नहीं करनी चाहिए कि कहीं कुछ गड़बड़ जरूर है और सारी लापरवाही छोड़ कर किसी अस्पताल अथवा किसी अच्छे डॉक्टर से चेक-अप कराने जरूर जाना चाहिए।
6. ब्रेस्ट के निप्पल से पानी जैसा चिपचिपा कुछ निकलना :- कभी अचानक महिलाओं के ब्रेस्ट से लिसलिसा पानी जैसा बदबू रहित पदार्थ निकलने लगता है तो अजीब सा महसूस होता है ऐसा कुछ होने पर हमें एक तो अपने शरीर की सफाई का विशेष ध्यान रखने की आवश्यकता होती है ऐसे समय हमारी सलाह तो यही है कि नीम-हकीमों से खुद को बचाएं तथा जितनी जल्दी हो सके व्यवस्थानुसार अपना ईलाज संभव कराएं और जल्दी ही जीवन को सफलता पूर्वक हंसी-खुशी के माहौल में बिताएं और जीवन का संपूर्ण आनंद लें।
7. ब्रेस्ट में खुजली होना :- ब्रेस्ट में असहनीय खुजली से भी कई बार अजीबोगरीब स्थिति का सामना करना पड़ता है और बार-बार ब्रेस्ट को खुजलाना पड़ता है तथा समाज में बड़ी दुविधा व परिहास का केंद्र बन कर रह जाना पड़ता है, तब लगता है कि ये क्या नई मुसीबत आ गई है, और ज्यादा खुजलाते रहने के कारण जख्म बनने का भी एक नया खतरा भी उत्पन्न हो जाता है, कुछ महिलाएं कई बाजारु किस्म की क्रीम, लोशन लगा कर ब्रेस्ट की खुजली ठीक करना शुरू कर देती है जो कि किसी सूरत में उचित नहीं है इन सब को छोड़कर किसी अच्छे अस्पताल में अपना ईलाज कराएं।
8. ब्रेस्ट से पपड़ी या छिलके जैसा उतरना :- कभी-कभी ब्रेस्ट में पपड़ी जैसी उतरने लग जाती है जो बार-बार कपड़ों में लगने पर अजीब सी स्थिति बन जाती है ऐसे समय आपको समझ जाना चाहिए कि ये साधारण बात नहीं है और इसे गंभीरता से लेकर सही कदम उठाने की आवश्यकता है, और समय का सदुपयोग करते हुए अति शीघ्र अपना ईलाज सुनिश्चित करना चाहिए जिससे आप जल्दी ही इस बिमारी को अपने शरीर से निकालने में सक्षम हों।
9. ब्रेस्ट के साथ की बाजू :- बगल में भी कई बार गांठ पड़ने की समस्या भी हो जाती है और कैंसर का रुप ले लेती , कुछ ऐसा भी देखने में आया है कि जिस ब्रेस्ट में कैंसर पनप रहा है उसके बराबर वाली बगल में भी एक गांठ सी बन जाती है वह गांठ भी धीरे-धीरे कैंसर का रुप ले लेती है, जिस पर हमारा ध्यान जाता ही नहीं है और खासकर महिलाएं इस बात को नजरअंदाज कर देती हैं अत: ऐसी स्थिति में विशेष ध्यान देने की आवश्यकता होती है।
10. ब्रेस्ट का निप्पल अन्दर की तरफ धंसनाऔर त्वचा खुश्क होना :- ब्रेस्ट कैंसर होने की स्थिति में ब्रेस्ट का निप्पल अन्दर की ओर दब सा जाता है, जब महिलाओं के ब्रेस्ट पूरी तरह विकसित होते हैं तब निप्पल एक दम बाहर की ओर सही अवस्था में होता है, लेकिन कभी-कभी ये लगता है कि निप्पल अंदर की ओर धंसता जा रहा है तब हमें सावधान होने की जरूरत हो जाती है और विशेष ध्यान रखते हुए कुछ अतिरिक्त टैस्ट कराने के लिए चिकित्सक भी सलाह देते हैं।
ब्रेस्ट कैंसर होने के कुछ और प्रमुख कारण (Breast cancer symptoms In Hindi):-
1. जो महिलाएं अपने बच्चों को दूध नहीं पिलाती हैं :- जब महिलाएं छोटे-छोटे बच्चों को दूध पिलाना बंद कर देती हैं तो बड़ी दर्दनाक स्थिति का सामना करना पड़ता है।
2. जो महिलाएं जीवन में कभी शादी नहीं करती हैं :- कई बार देखा गया है कि समाज में बहुत सी महिलाएं सारा जीवन शादी नहीं करती हैं उन्हें ब्रेस्ट कैंसर का सामना करना पड़ता है।
3. जिन महिलाओं में मैन्सीज :- कुछ महिलाओं में पिरीयड काफी देर से व लगातार कई दिनों तक आते हैं ऐसी महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर होने के ज्यादा चांस रहते हैं।
4. महिलाओं की उम्र :- बढ़ती उम्र के साथ वजन बढ़ने की वजह से भी ब्रेस्ट कैंसर का खतरा बना रहता है।
5. बच्चे को दूध पिलाने में असावधानी :- जब छोटा बच्चा दूध पी रहा होता है तब वह अचानक सिर को हिलाता है तब सिर ब्रेस्ट में जोर से लगने की वजह से ब्रेस्ट में अन्दरूनी चोट लगने से भी ब्रेस्ट कैंसर बनने की संभावनाएं बढ़ जाती हैं, ऐसे में महिलाओं को सावधानी पूर्वक बच्चे को दूध पिलाने की ओर ज्यादा ध्यान देने की आवश्यकता है।
6.महिलाओं में प्रैग्नेंसी :- देर से प्रैग्नेंसी भी ब्रेस्ट कैंसर का एक प्रमुख कारण है कुछ महिलाओं को ज्यादा उम्र के बाद प्रैग्नेंसी का जज्बा होता है जोकि बहुत खतरनाक है।
कुछ तथ्यों ये अवगत होना महत्वपूर्ण है कि अधिकांशतः कोई भी गांठ ब्रेस्ट कैंसर नहीं होता है, बगैर कैंसर वाले ब्रेस्ट ट्यूमर सिर्फ असामान्य वृद्धि है, जो ब्रेस्ट के बाहर नहीं फैलता, हालांकि ऐसे ट्यूमर जिन्दगी के लिए खतरा नहीं होते हैं, लेकिन कुछ कारणों से महिलाओं में ब्रेस्ट कैंसर का खतरा बना रह सकता है, ब्रेस्ट कैंसर में कैंसर सेल्स ब्रेस्ट के टिश्यू में बनती है। ब्रेस्ट सेल्स से शुरु हो कर ब्रेस्ट कैंसर आस-पास के टिश्यू और पूरे शरीर में फैल सकता है।
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